नई दिल्ली : हरियाणा के सिरसा में कृषि कानूनों को लेकर आंदोलनरत किसानों पर पुलिस के बलप्रयोग के विरोध में पंजाब के 30 किसान संगठनों के आहवान पर आज यहां सड़कें दोपहर 12 बजे से लेकर 2 बजे तक जाम कर दी गईं। हरियाणा के उप मुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला व बिजली मंत्री रणजीत सिंह चौटाला के आवासों का घेराव करने की कोशिश के दौरान पुलिस ने किसानों पर वाटर कैनन छोड़ने से लेकर आंसू गैस के गोले दागे थे और स्वराज इंडिया के योगेंद्र यादव, किसान मंच के प्रल्हाद भारूखेड़ा समेत कई किसान नेताओं को हिरासत में लिया था व बाद में छोड़ा था।
इस दौरान उत्तर प्रदेश के हाथरस में एक दलित लड़की के सामूहिक बलात्कार और हत्या की घटना के विरोध में भी ज़ोरदार नारेबाजी की गई। बठिंडा में विभिन्न किसान संगठनों ने मिल कर आईटीआई चौक पर जाम लगाया जिसमें भारतीय किसान यूनियन एकता उग्राहां, भाकियू सिद्धूपुर, भाकियू मानसा, भाकियू डकौंदा, कीर्ति किसान यूनियन, कुल हिन्द किसान सभा, जम्हूरी किसान सभा और अन्य किसान और मजदूर संगठन शामिल थे।
इसके अलावा किसान नसंगठन माईसरखाना, संगत, जीदा टोल प्लाज़ा, लहरा बेगा टोल प्लाज़ा, रामपुरा, नथाना, गुरूसर नज़दीक भगता, भुच्चो खुर्द आदि 8 स्थानों पर सड़कें जाम की गई और एक जाम थर्मल के पास बणांवाली में मानसा जिले के साथ सांझे तौर पर लगाया गया। एक बजे किसानों की तरफ से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और कारपोरेट घरानों के पुतले बनाकर प्रदर्शन भी किया गया। जिले में नौवें दिन आज बड़ी कार्पोरेट कंपनियों के पेट्रोल पंप, मॉल समेत छह ठिकानों पर कारोबार को ठप्प रखा गया।
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