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रवीश कुमार का लेख…. हालाँकि अपने निर्णय पर अटल हूँ कि नौकरी सीरीज़ नहीं करूँगा, इसके कारणों को लेकर कई बार लिख चुका हूँ।

रवीश कुमार का लेख….
हालाँकि अपने निर्णय पर अटल हूँ कि नौकरी सीरीज़ नहीं करूँगा, इसके कारणों को लेकर कई बार लिख चुका हूँ।

हालाँकि अपने निर्णय पर अटल हूँ कि नौकरी सीरीज़ नहीं करूँगा, इसके कारणों को लेकर कई बार लिख चुका हूँ। अगर कोई जानना चाहता है तो पुराने लेखों को सर्च कर पढ़ सकता है। अब मैं भावनात्मक रूप से कमजोर नहीं पड़ने वाला। युवाओं ने कई तरह से निराश किया है। ख़ैर वो अलग मसला है। उसमें कुछ इधर उधर नहीं होने वाला तो उस पर क्या ही बात करना। आई टी सेल की चपेट में आए युवा आई टी सेल से ही गुज़ारिश करें कि उनकी बातों को सरकार तक पहुँचा दे।

इसके बाद भी युवाओं के मैसेज देख मन पिघलता है। उनकी क्या हालत कर दी गई है। सरकार जानती है कि युवाओं से उसे कोई ख़तरा नहीं है। आरक्षण को लेकर कुछ भी मैसेज फैला देगी, भीड़ बंट जाएगी। धारा 370 को लेकर कुछ भी फैला देगी भीड़ छँट जाएगी। कुछ नहीं होगा तो इलाक़ा, इतिहास और जाति तो है ही। हमारे युवा सांप्रदायिकता और जातिवाद से दूर नहीं रह सकते। तो अपन उनसे दूर रहते हैं। यही दुआ करते हैं कि भारत के नौजवानों को ईमानदार परीक्षा व्यवस्था मिले। उनके जीवन में सरकारों ने जो कष्ट बोया है वो कभी न बोया जाए और मुझे मैसेज न करें। मुझे सांप्रदायिक नौजवानों का हीरो बनना ही नहीं है ।पूरे भारत में ऐसा बोलने वाला अकेला बंदा हूँ । मैं तो युवाओं से अपील करता हूँ कि कमेंट बॉक्स में आई टी सेल के लोग जो गाली देने आते हैं आप उन्हें और उनके नेता को ही फॉलो करें। मुझे रोज सुबह शाम गाली दिया करें । आपकी जवानी बर्बाद कर दी गई है यह सच है। उसी ने की है जिसकी बात ऊपर के पोस्ट में की है । मुझे भर्ती वाले मैसेज न करें।

बिहार से आया एक मैसेज

  1. नमस्कार सर🙏
    करबर्ध आपसे विनती है हम 52000 स्टूडेंट्स बिहार कर्मचारी चयन आयोग और हमारे बिहार के महान नेता @nitishkumar जी के मेहरबानी से आज इस मोड पे खड़े है की मरना चाह रहा हूँ तो जिम्मेवारी मरने नही देती और जीना चाहता हूँ तो बेरोजगारी जीने नही दे रही हैं.
    सर आप भी BSSC और बिहार के सारे भर्ती आयोग से परिचित ही होंगे. सर बिहार SSC 2014 मे इंटर लेवल प्रथम विज्ञापन के द्वारा 13120 vacancy जारी करती है. 2016 तक फॉर्म भरने की प्रक्रिया चलती रही 2016 के अंत तक प्री exam का आयोजन होता हैं परंतु आयोग के सचिव और अध्यक्ष पेपर आउट कर जेल जाते है. किसी तरह december 2018 मे प्री हो पाती हैं और काफी हंगामा होने के 1 साल 3 माह बाद 6 lakh copy चेक हो कर 63000 बच्चे प्री मे सफल घोषित किया जाता है
    पुनः 4 माह तक मैंस का फॉर्म बढ़वाया जाता हैं उसके 5 माह बाद मैंस का आयोजन हो पाता है
    और हमलोगों के काफी प्रदर्शन के बाद 25 feb 2021 को सभी बच्चों मे से मिनिमम qualifying marks के आधार पर 52000+ बच्चों को सफल बता कर परिणाम जारी किया जाता हैं
    अब टाइपिंग और फिजिकल के कुछ पद होने के वजह से आयोग पिछले 4 माह से खामोश बैठी है टाइपिंग और फिजिकल कब होगी ये आयोग के अध्यक्ष को भी पता नही है। कोई नोटिस भी नही दी जा रही हैं..
    8 साल होने को है सर आपसे विनती है कृपा कर के हमारे लिए आवाज उठाये..
    please Sir हम आभागों इस सिस्टम के मारे के लिए आवाज उठा दीजिये🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏

यूपी से आया एक मैसेज

  1. सर प्लीज़ हम उत्तर प्रदेश बीएड 2011 के अभ्यर्थियों की पीड़ा को उठाए। हम सभी पिछले 10 सालों से न्याय के लिए भटक रहे हैं।
    सर 7/12/12 को तत्कालीन सपा सरकार ने बेसिक शिक्षा विभाग ने 72825 पदों का विज्ञापन निकाला था, फीस के रूप में सरकार के पास 290 करोड़ रुपए भी जमा है, एक दिन की काउंसलिंग भी हुई थी पर किसी कारणवश ये भर्ती न्यायालय में पहुंच गई। अगस्त 2017 में माननीय सुप्रीम कोर्ट द्वारा वर्तमान योगी सरकार को लिबर्टी दी गई है, विभाग के पास पद भी रिक्त हैं परंतु सरकार की मंशा ही नही हो रही इस भर्ती को पूरा करने की।
    2017 विधान सभा चुनाव के समय भाजपा के नेता हमारे धरने में आ कर खुले मंच से बीएड टीईटी की नियुक्ति की बात करते थे, पर सत्ता में आने के बाद अपने किए वादे को पूरा नहीं कर रहे।

सर बहुत आशा के साथ आपको अपनी पीड़ा बता रहे है कृप्या हमें सहयोग करें हमारी बात को उठाइए।
हमारे अधिकांश साथी 10 सालों में ओवरएज हो चुके है। ये भर्ती ही हमारे लिए आखिरी विकल्प हैं।

सर प्लीज़ हेल्प 🙏🙏

मैं तो यह चाहता हूँ कि युवा किसी के सामने हाथ न जोड़े । नेता उनके सामने हाथ जोड़ कर खड़े हों ।

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