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पावर इलेक्ट्रॉनिक्स के साथ आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस डीकार्बोनाइजेशन लक्ष्य हासिल करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा: ग्लोबल एनर्जी एक्सपर्ट जामिइ

पावर इलेक्ट्रॉनिक्स के साथ आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस डीकार्बोनाइजेशन लक्ष्य हासिल करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा: ग्लोबल एनर्जी एक्सपर्ट जामिइ

नई दिल्ली। आईईईई जामिया मिल्लिया इस्लामिया (जेएमआई) पावर इलेक्ट्रॉनिक्स छात्र चैप्टर, आईईईई जेएमआई छात्र ब्रांच और इलेक्ट्रिकल इंजीनियरिंग विभाग जेएमआई ने संयुक्त रूप से इस विषय पर एक पैनल चर्चा का आयोजन किया है: “पावर इलेक्ट्रॉनिक्स- रेलिएबिलिटी, आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस आर फ्यूचर रिसर्च डायरेकशंस”। यह कार्यक्रम 21 जून 2022 को दुनिया भर में मनाए जाने वाले पावर इलेक्ट्रॉनिक्स दिवस के अवसर पर आयोजित किया गया था।
पैनलिस्ट पावर इलेक्ट्रॉनिक्स और हरित ऊर्जा क्षेत्र के प्रतिष्ठित विश्व प्रसिद्ध प्रोफेसर थे जिनमें; प्रो. फ्रेड ब्लाबजर्ग- फेलो आईईईई और प्रो. हुआई वांग, अलबोर्ग विश्वविद्यालय, डेनमार्क और प्रो. साद मेखिलेफ- फेलो आईईईई, मलाया विश्वविद्यालय, मलेशिया, प्रो. राजेश कुमार एमएनआईटी जयपुर, डॉ. श्रीनिवास कारंकी- प्रमुख, आईईईई पेल्स इंडिया समिति, आईआईटी भुवनेश्वर, डॉ अहतेशमुल हक- संकाय सलाहकार आईईई पीईएलएस स्टूडेंट ब्रांच और ब्रांच काउंसलर जेएमआई शामिल थे।
विशेषज्ञों ने पॉवर इलेक्ट्रॉनिक्स और एआई के क्षेत्र में भविष्य, अनुप्रयोग, व्यावहारिकता और चुनौतियों पर प्रकाश डाला। पैनलिस्टों के परिचय के बाद, प्रोफेसर फ्रेड ब्लाबजर्ग ने चर्चा को आगे बढ़ाया। कई विषयों जैसे  प्रणाली को विद्युतीकृत करने की आवश्यकता और नए प्रकार के लोड के कारण आधुनिक दुनिया में पावर इलेक्ट्रॉनिक्स का उपयोग कितना अपरिहार्य है – पर चर्चा की गई । प्रोफेसर मेखिलेफ का शीर्ष वाक्य था, इट इज़ ए नेसेसिटी एट दिस टाइम।
पॉवर इलेक्ट्रॉनिक्स और एआई से संबंधित उपयोग, विश्वसनीयता और उसकी सीमाओं पर भी चर्चा की गई। उत्पादित पावर की मात्रा, पैरामीटर आइडेंटिफिकेशन, फोटोवोल्टिक संयंत्रों की स्थिति की निगरानी, राउटर के अंदर तापमान की जांच करने के लिए एआई का उपयोग, ऊर्जा आपूर्ति के कार्बोनाइजेशन और इलेक्ट्रिक वाहनों और इनवर्टर में वृद्धि का सटीक पूर्वानुमान लगाने में आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस और मशीन लर्निंग का अनुप्रयोग- कुछ ऐसे एप्लीकेशन्स थे जिन पर सभी पैनलिस्टों ने विस्तार से चर्चा की।
अंत में यह निष्कर्ष निकाला गया कि पावर इलेक्ट्रॉनिक्स के साथ एआई का उपयोग विश्व स्तर पर डीकार्बोनाइजेशन लक्ष्य को प्राप्त करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा।
यह एक जीवंत चर्चा थी जिसने अंतिम क्षण तक दर्शकों को मंत्रमुग्ध करके रखा। छात्रों को इस क्षेत्र में शोध के लिए प्रेरित करने के लिए यह काफी मनोरंजक था। सत्र का समापन मेजबान मोहम्मद जैद द्वारा धन्यवाद ज्ञापन के साथ हुआ।
इससे पहले, प्रो. मुन्ना खान, अध्यक्ष, इलेक्ट्रिकल इंजीनियरिंग विभाग, जामिया ने पैनलिस्ट का स्वागत किया और इस तेज़ी से उभरते विषय पर इस कार्यक्रम के आयोजन के लिए डॉ. एहतेशमुल हक की सराहना की।
डॉ. हक ने कहा कि इस आयोजन में 8 विभिन्न देशों और भारत के 25 संस्थानों के प्रतिभागी शामिल हैं। कार्यक्रम वर्चुअल मोड में आयोजित किया गया था।
आईईईई जामिया की छात्र टीम ने डॉ. हक के मार्गदर्शन में करी किया है, जिसके अध्यक्ष अनिरुद्ध तिवारी, वाइस चेयरपर्सन, मरियम फातिमा और महासचिव, सारा बटूल हुसैन और सरफराज आलम हैं। कंटेंट टीम से इफरा खान, अक्सा मतीन और ग्राफिक्स टीम से अयाज अंसारी, सना का उनके बेहतरीन टीम वर्क के लिए विशेष उल्लेख किया गया

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