नई दिल्ली : सचिन तेंदुलकर ने कहा स्टीव स्मिथ की गैर पारंपरिक तकनीक के कारण इडिया गेंदबाजों को उन्हें थोड़ी बाहर गेंदबाजी करनी होगी.
उन्होंने गेंदबाजों को सलाह दी कि ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ आगामी सीरीज के दौरान इस बल्लेबाज को ‘पांचवीं स्टंप’ की लाइन पर गेंदबाजी करें.
तेंदुलकर ने कहा कि स्मिथ की तकनीक गैर पारंपरिक है, सामान्यत: टेस्ट मेचों में हम गेंदबाज को ऑफ स्टंप या चौथे स्टंप की लाइन के आसपास गेंदबाजी करने के लिए कहते हैं.
लेकिन स्मिथ मूव करते हैं इसलिए शायद गेंद की लाइन चार से पांच इंच और आगे होनी चाहिए.
उन्होंने कहा कि स्टीव के बल्ले का किनारा लगे, इसके लिए चौथे और पांचवें स्टंप के बीच की लाइन पर गेंदबाजी करने का लक्ष्य बनाना चाहिए, यह कुछ और नहीं बल्कि लाइन में मानसिक रूप से बदलाव करना है.
तेंदुलकर ने कहा कि मैंने पढ़ा है कि स्मिथ ने कहा है कि वह शॉर्ट पिच गेंदबाजी के लिए तैयार हैं, संभवत वह उम्मीद कर रहे हैं कि गेंदबाज शुरुआत से ही उसके खिलाफ आक्रामक रवैया अपनाएंगे.
लेकिन मुझे लगता है कि ऑफ स्टंप के बाहर की तरफ उनकी परीक्षा ली जानी चाहिए, उन्हें बैकफुट पर रखो और शुरुआत में ही गलती करवाओ.
बुमराह, शमी, इशांत और उमेश की मौजूदगी में भारत का तेज गेंदबाजी आक्रमण प्रभावी है, लेकिन तेंदुलकर चाहते हैं टीम प्रबंधन एक रक्षात्मक गेंदबाज की भी पहचान करें.
उन्होंने कहा कि जैसा कि मैंने हमेशा से कहा है कि हमारे पास भारत के सर्वकालिक सर्वश्रेष्ठ और संतुलित गेंदबाजी आक्रमण में से एक है, टेस्ट मैच जीतने के लिए आखिरकार आपको 20 विकेट हासिल करने होते हैं.
लेकिन 20 विकेट हासिल करने के लिए काफी रन भी नहीं लुटाने चाहिए, तेंदुलकर ने कहा कि आक्रामक गेंदबाजों के साथ हमें ऐसे गेंदबाज की भी पहचान करनी होगी, जो प्रतिकूल पिचों पर एक छोर से रन नहीं बनने दे, लगातार मेडन ओवर फेंककर दबाव बनाए.
सलामी बल्लेबाजी के बारे में पूछने पर तेंदुलकर ने कहा कि उन्हें उम्मीद है कि मयंक अग्रवाल का खेलना तय है, उन्होंने कहा कि मुझे पता है कि मयंक का खेलना तय है क्योंकि वह बड़ी पारियां खेल रहे हैं और अगर रोहित फिट और उपलब्ध होते हैं तो उन्हें उतरना चाहिए, तेंदुलकर ने कहा कि पृथ्वी शॉ और केएल राहुल के बीच, यह प्रबंधन का फैसला होगा, क्योंकि उन्हें पता है कि कौन सा खिलाड़ी फॉर्म में है,
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