नई दिल्ली: कानपुर के बिकरू गांव में हिस्ट्रीशीटर विकास दुबे को पकड़ने की कोशिश के दौरान यूपी के 8 पुलिसकर्मी शहीद हो गए थे, उसकी मां ने बेटे की हरक़तों पर सख़्त नाराजगी जताई है, विकास की मां सरला देवी ने पुलिसकर्मियों की शहादत के बाद न्यूज़ एजेंसी एएनआई से कहा है कि उनके बेटे को कड़ी सजा दी जानी चाहिए,
सरला देवी ने कहा उसे पुलिस के सामने सरेंडर कर देना चाहिए, अगर वह भागता रहेगा तो पुलिस उसे एनकाउंटर में मार सकती है, मैं कहती हूं कि अगर आप उसे पकड़ लेते हैं तो उसे मार दो, उसे कड़ी सजा दी जानी चाहिए,’ उन्होंने कहा, ‘निर्दोष पुलिसकर्मियों को मारकर उसने बहुत ग़लत काम किया है, मैंने टीवी पर एनकाउंटर की ख़बर देखी, मैं चाहती हूं कि उसे सामने आना चाहिए और अपने भले के लिए पुलिस के सामने सरेंडर कर देना चाहिए वरना पुलिस उसे किसी न किसी तरह ढूंढ लेगी, मैं कह रही हूं कि उसे पकड़ लो और उसका एनकाउंटर कर दो, उसे ज़रूर सजा मिलनी चाहिए,’
सरला देवी ने कहा कि राजनेताओं के संपर्क में आने के बाद विकास दुबे ने अपराध की दुनिया में क़दम रखा था, विकास दुबे बेहद शातिर बदमाश है, उसका नाम पहली बार चर्चा में तब आया था, जब उसने 2001 में संतोष शुक्ला की पुलिस थाने के अंदर हत्या कर दी थी, दुबे के बारे में कहा जाता है कि उसकी सभी राजनीतिक दलों में अच्छी पकड़ है और वह जिला पंचायत का सदस्य भी रह चुका है, कई पार्टियों के नेता पंचायत और स्थानीय निकाय के चुनावों में दुबे की मदद लेते रहे हैं, दुबे बहुजन समाज पार्टी में भी रह चुका है,
दुबे का कानपुर के आसपास के इलाक़ों में ख़ौफ़ माना जाता है और कहा जाता है कि उसके पास बदमाशों की एक अच्छी-खासी टीम है, दुबे को कानपुर के रिटायर्ड प्रिंसिपल सिद्धेश्वर पांडे की हत्या में उम्र क़ैद की सजा हो चुकी है, विकास दुबे पर 60 आपराधिक मुक़दमे दर्ज हैं, सरला देवी ने कहा, ‘वह विधायक का चुनाव जीतना चाहता था, उसने राजनाथ सिंह की सरकार में मंत्री संतोष शुक्ला को गोली मार दी थी,’ दुबे की मां ने यह भी कहा कि वह परिवार के लिए अपमान का कारण बन चुका है,
सरला देवी ने कहा, ‘मैं पिछले 4 महीने से उससे नहीं मिली हूं, मैं यहां अपने छोटे बेटे के साथ लखनऊ में रह रही हूं, हम उसकी वजह से मुसीबत झेल रहे हैं,’ इस बीच आईजी कानपुर मोहित अग्रवाल ने विकास दुबे के बारे में सूचना देने वाले शख़्स के लिए 50 हज़ार का नक़द इनाम घोषित किया है, यूपी के सीएम योगी ने शुक्रवार को इस घटना में शहीद हुए पुलिसकर्मियों को श्रद्धांजलि दी और सभी परिवारों को 1-1 करोड़ रुपये की सांत्वना राशि देने की घोषणा की, शहीद होने वालों में डिप्टी एसपी और बिल्होर के सर्किल अफ़सर देवेंद्र मिश्रा, स्टेशन अफ़सर शिवराजपुर महेश यादव भी शामिल हैं, दो सब इंस्पेक्टर और चार सिपाही भी शहीद हुए हैं, इसके अलावा सात पुलिस कर्मी घायल हुए हैं