नई दिल्ली : सीएम केजरीवाल ने जींद के किसान महापंचायत में कहा कि वे संसद में बिल लेकर आए ताकि केजरीवाल को दंडित कर पाए, किसानों के प्रदर्शन करने का समर्थन करने पर हमें उसका खामियाजा भुगतना पड़ा.

सीएम केजरीवाल ने कहा कि वे बिल पास कर और अधिकार को चुनी हुई सरकार की बजाय उप-राज्यपाल के हाथों में दे रहे हैं, क्या हम इसके लिए आजादी का संघर्ष लड़ेंगे?

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सीएम केजरीवाल ने कहा केन्द्र ने मेरे पास फाइल भेजी और दबाव बनाना शुरू कर दिया कि कानून व्यवस्था का सवाल है, उन्होंने मुझे यहां तक धमकी दी कि वे मेरा अधिकार ले लेंगे, मैंने उनकी बातें नहीं सुनी और फाइल को रिजेक्ट कर दिया था.

केजरीवाल ने कहा- हम उन 300 किसानों को सलाम करते हैं जिनकी किसान आंदोलन के दौरान मौत हो गई, यह हमारी जिम्मेदारी है कि उनकी कुर्बानी व्यर्थ ना जाए

सीएम केजरीवाल ने कहा पता चला, कल रोहतक में इन लोगों ने किसानों पर लाठीचार्ज किया, किसानों का साथ देना चाहिए सरकारों को या लाठीचार्ज? हम निंदा करते है इस बात की, मुझे पता चला लोग जाने लग गए.

 इसलिए आपसे बात करने आ गया, बहुत किसान अभी जाम में भी फसे है, पंजाब के किसानों का धन्यवाद किया, आज हरियाणा में आया हूं.

सीएम केजरीवाल ने कहा सारे देश के किसान आपके साथ हैं, पहले दिन से मजबूती के साथ केजरीवाल, दिल्ली सरकार किसानों का साथ दे रही है, जब किसानों ने दिल्ली बॉर्डर पर कूच किया तो हरयाणा सरकार ने आंसू गैस के गोले छोड़े, लाठी चार्ज किए, लेकिन हमारे किसान सब पार कर के पुहंचे थे.

गौरतलब है कि पिछले करीब चार महीने से दिल्ली की सीमाओं के आसपास किसान नए कृषि कानूनों के विरोध में प्रदर्शन कर रहे हैं, अब तक केन्द्र और किसानों के प्रतिनिधि के बीच कई दौर की वार्ता हो चुकी है लेकिन नतीजा कुछ नहीं निकल पाया, किसानों की मांग है कि सरकार एमएसपी को कानून का हिस्सा बनाने के साथ तीन नए कृषि कानूनों को वापस ले.

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