नई दिल्ली/इस्तांबुल: तुर्की के हागिया सोफिया म्यूजियम को मस्जिद में बदल दिया गया है, राष्ट्रपति रेशेप तैयप एर्दोगन ने शुक्रवार को कहा, हम 24 जुलाई से हागिया सोफिया को नमाज के लिए खोलने की योजना बना रहे हैं, हमारी मस्जिदों की तरह हागिया सोफिया के दरवाजे भी सभी के लिए खुले रहेंगे, यहां स्थानीय, विदेशी मुसलमान और गैर मुसलमान भी आ सकेंगे, तुर्की की एक अदालत ने शुक्रवार को हागिया सोफिया को म्यूजियम बनाए रखने से जुड़ी याचिका खारिज कर दी थी, इसके बाद इसे मस्जिद में बदलने का रास्ता साफ हो गया था,
तुर्की की कैबिनेट ने 1934 में इसे म्यूजियम में बदला था, कोर्ट ने 86 साल बाद यह फैसला रद्द कर दिया, कोर्ट ने कहा था कि सेटलमेंट डीड में इसे मस्जिद बताया गया है, इसका दूसरे ढंग से इस्तेमाल कानूनी तौर पर संभव नहीं है, इसके बाद सरकार ने इसका म्यूजियम का दर्जा बदलकर मस्जिद बना दिया,
हागिया सोफिया को 15 सौ साल पहले यूनानी साम्राज्य में एक कैथेड्रल चर्च के तौर पर बनाया गया था, हालांकि, 1453 में यूरोप में हुए आटोमन वॉर के बाद इसे मस्जिद में बदल दिया गया था, 1934 में कैबिनेट के फैसले के बाद इसे एक म्यूजियम में बदला गया, फिलहाल यह यूनेस्को के वैश्विक धरोहरों में शामिल है, तुर्की के मुस्लिम लोग इसे मस्जिद में बदलने की मांग कर रहे थे वहीं, देश के सेकुलर वर्ग ऐसा करने के खिलाफ थे,
तुर्की सरकार के इस फैसले की आलोचना हो रही है, ऐसा कहा जा रहा है कि इस फैसले से देश में मतभेद पैदा होगा, अमेरिका के विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता मार्गन अर्टगस ने शुक्रवार को कहा कि हम हागिया सोफिया का दर्जा बदलने के तुर्की सरकार के फैसले से निराश हैं, यूनेस्को ने तुर्की सरकार से अनुरोध किया है कि वह इस पर चर्चा करे और इसका दर्जा बदलने पर फिर सोचे, ग्रीस और रूस के इसाई समुदाय ने भी इस पर अफसोस जताया है