नई दिल्ली: आम आदमी पार्टी के वरिष्ठ नेता और राज्यसभा सांसद संजय सिंह ने कहा कि अब उत्तर प्रदेश की योगी सरकार ने भी केजरीवाल सरकार के दिल्ली माॅडल को अपना लिया है। अब उत्तर प्रदेश में भी हल्के व बिना लक्षणों वाले कोविड-19 मरीजों का इलाज घर पर ही किया जाएगा। यह केजरीवाल सरकार के लिए बहुत बड़ी उपलब्धि है कि दूसरे राज्यों की सरकारें भी उनसे सीख ले रही हैं और दिल्ली माॅडल को अपना रही हैं। संजय सिंह ने कहा कि यूपी की आबादी करीब 24 करोड़ और प्रतिदिन 40 से 50 हजार जांच हो रही है। अब इसे 2 लाख तक बढ़ाए जाने की जरूरत है। उन्होंने कहा कि दिल्ली में अब तक करीब 1,03,000 मरीज ठीक हुए हैं और इसमें होम आइसोलेशन प्रक्रिया के तहत अब तक 80 प्रतिशत लोग ठीक हुए हैं। वर्तमान में दिल्ली में रिकवरी रेट बढ़कर 84 प्रतिशत और पाॅजिटिविटी रेट घट कर 9 प्रतिशत हो गई है।

आम आदमी पार्टी के राज्यसभा सांसद संजय सिंह ने अपने निवास पर एक प्रेस वार्ता को संबोधित करते हुए कहा कि मानव जाति के इतिहास में सबसे बड़े संकट कोरोना से आज पूरा विश्व जूझ रहा है, जिसके कारण लाखों लोगों की मृत्यु हो चुकी है। पूरे विश्व में आर्थिक मंदी व बेरोजगार जैसी समस्याओं का संकट खड़ा हो गया है। अमेरिका, रूस, फ्रांस जैसे दुनिया के बड़े-बड़े विकसित देशों की कमर टूट गई है। ऐसे संकट के समय में दिल्ली की अरविंद केजरीवाल सरकार ने इस कोरोना महामारी से लड़ने के लिए जो मॉडल अपनाया और दिल्ली की जनता, दिल्ली सरकार के अस्पतालों के डॉक्टरों व अन्य कर्मचारियों, दिल्ली पुलिस और समस्त लोगों ने मिलकर जो मेहनत की, उसका यह नतीजा हुआ कि आज जब भारत में 10,00,000 से भी अधिक कोरोना के केस सामने आ चुके हैं। वहीं दिल्ली की अरविंद केजरीवाल सरकार ने कोरोना को हराने का काम किया है। आज दिल्ली की केजरीवाल सरकार के मॉडल की चर्चा न केवल देश में, बल्कि दुनिया के अन्य हिस्सों में भी हो रही है।

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संजय सिंह ने कहा कि विपक्षियों ने शुरुआत में अरविंद केजरीवाल जी के कोरोना से लड़ने के मॉडल की बड़ी आलोचना की। अरविंद केजरीवाल जी ने जो होम आइसोलेशन प्रक्रिया की शुरुआत की, उसको रोकने के भरपूर प्रयास किए गए। परंतु तमाम आलोचनाओं के बावजूद केजरीवाल सरकार ने होम आइसोलेशन के माध्यम से घर पर ही लोगों को चिकित्सा परामर्श उपलब्ध कराए। प्रतिदिन उनके स्वास्थ्य की जानकारी का ब्यौरा लिया। मरीजों को घर पर ही ऑक्सीमीटर उपलब्ध कराए और अन्य चिकित्सा सुविधाएं उपलब्ध कराई। इसका नतीजा यह हुआ कि आज दिल्ली में लगभग 1,03,000 मरीज कोरोना बीमारी को मात देकर स्वस्थ हो चुके हैं और इन स्वस्थ होने वाले लोगों में लगभग 80 प्रतिशत लोग अरविंद केजरीवाल जी की होम आइसोलेशन प्रक्रिया के माध्यम से ही स्वस्थ हुए हैं। साथ ही साथ दिल्ली में रिकवरी रेट बढ़कर 84 प्रतिशत और पॉजिटिविटी रेट घटकर 9 प्रतिशत के लगभग रह गया है।

संजय सिंह ने कहा कि मैंने कई बार उत्तर प्रदेश में प्रेस कॉन्फ्रेंस करके और चिट्टियां लिखकर मुख्यमंत्री श्री योगी आदित्यनाथ जी से अपील की कि उत्तर प्रदेश में भी जांच की संख्या को बढ़ाया जाए। जांच अधिक से अधिक की जाए और होम आइसोलेशन की प्रक्रिया को अपनाया जाए। परंतु जबरदस्ती लोगों को होटल, कोविड सेंटर, अस्पतालों में रखने की सरकार की जिद लगातार चलती रही। मैं केजरीवाल सरकार को धन्यवाद देना चाहता हूं कि आज उनके द्वारा अपनाए गए मॉडल को उत्तर प्रदेश की योगी सरकार ने भी अपनाने का निर्णय लिया। अंततः अब उत्तर प्रदेश में भी होम आइसोलेशन प्रक्रिया को लागू कर दिया गया है।

उन्होंने कहा कि दिल्ली की केजरीवाल सरकार के लिए यह एक बहुत बड़ी उपलब्धि है कि अन्य राज्यों की सरकारें भी उनसे सीख ले रही हैं और अपने राज्यों में होम आइसोलेशन की प्रक्रिया को लागू कर रही हैं। मैं यूपी की सरकार से भी कहना चाहूंगा कि होम आइसोलेशन की प्रक्रिया के साथ-साथ जांच की संख्या को भी बढ़ाया जाए। प्रत्येक जिले में जांच के लिए एक लैब का प्रावधान करें। क्योंकि दिल्ली में मात्र ढाई करोड़ की आबादी पर 42 लैब हैं और पूरे उत्तर प्रदेश में 24 करोड़ की आबादी पर मात्र 28 लैब हैं। साथ ही साथ संजय सिंह ने यह भी कहा कि उत्तर प्रदेश में अभी जो जांच का आंकड़ा सामने आ रहा है, वह लगभग 40 से 50 हजार प्रतिदिन का है। परंतु उत्तर प्रदेश की जनसंख्या के अनुसार योगी सरकार को लगभग दो लाख टेस्ट प्रतिदिन करने का प्रबंध करना चाहिए।

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